मनीष मंडल/न्यूज 11 भारत
गिरिडीह/डेस्क: मंगलवार की देर रात बेंगाबाद प्रखंड क्षेत्र के बड़कीटांड पंचायत अंतर्गत पेसराटांड गांव में एक 15 वर्षीय किशोर रंजीत मरांडी व उनके पिता रुपम मरांडी की अचानक उल्टी व दस्त शुरु हो गया, जिससे अचानक दोनों की तबियत बिगड़ने लगा. इसी समय स्थानीय लोगों के द्वारा 108 एंबुलेंस को सूचना दिया गया लेकिन रात होने का कारण उन्होंने रात का हवाला देते हुए एंबुलेंस वालों ने किसी अन्य दूसरे जगह से बात करने की बात कही और वह नहीं आया. किसी तरह दोनों को रात भर बेचैनी के साथ बिताना पड़ा. बुधवार की सुबह परिजनों ने किसी ऑटो के सहयोग से बेंगाबाद के निजी अस्पताल लाया गया.
जहां पर डॉक्टर ने उन्हें बेहतर इलाज के लिए किशोर रंजीत को गिरिडीह अस्पताल भेज दिया वहीं उनके पिता रूपम को वही इलाज शुरू किया. रंजीत को गिरिडीह अस्पताल ले जाने पर वहां डॉक्टर उन्हें मृत घोषित कर दिया. वही उनके पिता का इलाज बेंगाबाद के अस्पताल में चल रहा हैं. इसकी सूचना लोगों ने स्थानीय मुखिया को दी मुखिया ने इसकी सूचना गिरिडीह सीएस को दी. बुधवार की दोपहर शाम में मौके पर पहुंची स्वास्थ्य विभाग के टीम ने गांव में ब्लीचिंग पाउडर वगैरह का छिड़काव किया. सीएस डॉ शिव प्रसाद मिश्रा से दूरभाष पर बात करने पर उन्होंने बताया कि यह फूड प्वाइजनिंग का मामला है, जिससे इसकी मौत हुई हैं.
इधर पेसराटांड के दर्जनाधिक ग्रामीणों ने की व गिरिडीह उपायुक्त, गांडेय विधायक, मुख्य सचिव को दर्जनाधिक हस्ताक्षरयुक्त एक आवेदन कर स्वास्थ्य विभाग के रवैया व एंबुलेंस चालक के लापरवाही का आरोप लगाते हुए सौंपा है और इसके ऊपर जांच पड़ताल कर दोषियों पर कार्रवाई करने की मांग की हैं. ग्रामीणों ने बताया कि अगर समय पर उन्हें एंबुलेंस मिलता तो इस युवक की मौत नहीं होती समय पर वाहन न मिलने का कारण युवक की जान गई हैं. उन्होंने बताया कि इस तरह की दोबारा पूर्णावर्ती ना हो इसको लेकर इन लोगों ने एक आवेदन वरीय अधिकारियों को अवगत कराया हैं.