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रांची/डेस्कः सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को लोकसभा और कई राज्यों की विधानसभाओं के लिए उपाध्यक्ष के चुनाव की मांग करने वाली जनहित याचिका पर सुनवाई के लिए 22 जुलाई की तारीख तय की है. भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ और न्यायमूर्ति जेबी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ ने मामले को 22 जुलाई को सूचीबद्ध करने पर सहमति जताई क्योंकि अटॉर्नी जनरल आर वेंकटरमणि मामले पर बहस करने के लिए उपलब्ध नहीं थे. याचिकाकर्ता शारिक अहमद का प्रतिनिधित्व करने वाले वकील ने कहा कि केंद्र को लोकसभा में उपाध्यक्ष की नियुक्ति नहीं करने के बारे में सूचित करने की आवश्यकता है.
इस बात पर प्रकाश डाला गया कि नवगठित संसद में भी उपाध्यक्ष का पद रिक्त रहता है. फरवरी 2023 में शीर्ष अदालत ने जनहित याचिका के संबंध में केंद्र और कुछ राज्यों को नोटिस जारी किया. याचिका में कहा गया है कि उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, मध्य प्रदेश, झारखंड, मणिपुर और राजस्थान की लोकसभा और राज्य विधानसभाओं में उपाध्यक्ष का अनिवार्य पद वर्षों से रिक्त है. याचिका में कहा गया है कि भारतीय संविधान के अनुच्छेद 93 और अनुच्छेद 178 के अनुसार राज्य विधानसभाओं के लिए उपसभापति के पद के लिए चुनाव कराना अनिवार्य है.