19 को AIMIM प्रमुख औवैसी पहुंच रहे है मांडर, चान्हों मैदान में करेंगे धान के पक्ष में करेंगे चुनावी सभा
न्यूज 11 भारत / कौशल आनंद
रांचीः जैसे-जैसे मांडर विधानसभा उपचुनाव की तिथि निकट आ रही है. वैसे-वैसे चुनावी जंग दिलचस्प होते जा रही है. जैसे ही पूर्व मंत्री और प्रमुख आदिवासी नेता देवकुमार धान AIMIM (ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहाद-उल मुस्लिमीन) समर्थित प्रत्याशी घोषित हुए. मांडर का समीकरण तेजी से बदलना शुरू हो गया है. अब एआईएमएम प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी 19 जून को मांडर आ रहे हैं. वे देवकुमार धान के पक्ष में चान्हो मैदान में एक बड़े चुनावी सभा को संबोधित करेंगे. ऐसा माना जा रहा है कि उनके मांडर आगमन से मांडर का समीकरण तेजी से बदल सकते हैं. जो तस्वीर बनती दिख रही है उसमें देवकुमार धान कांग्रेस और भाजपा दोनों का खेल बिगाड़ने को आतूर दिख रहे हैं. अब यह तो मांडर उपचुनाव का परिणाम ही बताएगा कि ऊंट किस करवट बैठती है. मगर इतना तय है जो लड़ाई सीधी दिख रही थी अब त्रिकोणीय बनाने में धान बहुत ही एक्टिव दिख रहे हैं.
मांडर में कितने कौन हैं वोटर
इसाई : करीब 30 हजार
मुस्लिम : करीब 70 हजार
सरना : 1.74 लाख
गैर आदिवासी हिंदू : 74 हजार के करीब
किस प्रत्याशी का किस वोटरों पर है सेंधमारी की योजना
मांडर विधानसभा विभिन्न जातियों एवं धर्मों का मिलाजुला आबादी वाला क्षेत्र है. इसमें सरना, ईसाई, मुस्लिम और गैर आदिवासी हिंदू वोटरों की आबादी अच्छी-खासी है. जिस पर सभी की नजर रहेगी. मांडर में विधानसभा में मुस्लिम और सरना वोटरों की आबादी किसी के जीत और हार में अहम भूमिका निभाता रहा है. देवकुमार धान सरना आदिवासी समुदाय से आते हैं. धान का लापुंग और बेड़ो प्रखंड में अच्छी पकड़ मानी जाती है. इसलिए अब धान की नजर मुस्लिम वोट के बिखराव पर टिकी है. उनकी नजर गैर आदिवासी हिंदू वोटरों पर भी टिकी हुई है. कांग्रेस प्रत्याशी और पूर्व विधायक बंधु तिर्की की बेटी शिल्पी नेहा तिर्की इसाई आदिवासी समुदाय से आते हैं. इसलिए इनका पहला फोकस ईसाई और मुस्लिम वोटरों पर ही है. मगर जिस हिंसा से देवकुमार धान ओवैसी को मांडर में उतर रहे हैं, इससे कांग्रेस और बंधु तिर्की के इस वोट बैंक में बिखराव की संभावना से इन्कार नहीं किया जा सकता है. रही बात भाजपा की तो भाजपा का मुख्य फोकस 1.74 लाख सरना और करीब 74 हजार गैर आदिवासी हिंदू वोटरों पर टिकी है. क्योंकि खुद गंगोत्री कुजूर भी सरना आदिवासी से आती हैं. ऐसे में देवकुमार धान की इंट्री से सरना वोट में बिखराव की संभावना बनती दिख रही है