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रांची/डेस्कः संसद का मानसून सत्र 22 जुलाई से शुरू होगा. केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण अपना सातवां केंद्रीय बजट पेश करने वाली हैं. इस साल के बजट की प्रस्तुति के साथ ही निर्मला सीतारमण लगातार सात बजट पेश करने वाली पहली वित्त मंत्री बन जाएंगी. वह मोरारजी देसाई के छह बजट प्रस्तुतियों का रिकॉर्ड तोड़ देंगी. पिछले कुछ पूर्ण केंद्रीय बजटों की तरह, बजट 2024 भी कागज रहित (पेपरलेस) रूप में पेश किया जाएगा.
1 फरवरी को पेश किया गया था अंतरिम केंद्रीय बजट 2024
बता दें कि लोकसभा चुनाव को देखते हुए केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी को अंतरिम केंद्रीय बजट 2024 पेश किया था. पूर्ण बजट की तैयारी के हिस्से के रूप में, वित्त मंत्रालय ने अर्थव्यवस्था के विभिन्न हितधारकों के साथ विचार-विमर्श के कई दौर पूरे कर लिए हैं. ये बैठकें 20 जून को शुरू हुईं, जिसके दौरान वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने ट्रेड यूनियनों, शिक्षा और स्वास्थ्य क्षेत्रों, रोजगार और कौशल, एमएसएमई, व्यापार और सेवाओं, उद्योग, अर्थशास्त्रियों, वित्तीय क्षेत्र और पूंजी बाजारों के प्रतिनिधियों के साथ-साथ बुनियादी ढांचे, ऊर्जा और शहरी क्षेत्रों के प्रतिनिधियों से मुलाकात की. बैठकों के दौरान, अर्थशास्त्रियों ने पूंजीगत व्यय को बढ़ावा देने और राजकोषीय घाटे को कम करने जैसे कई महत्वपूर्ण मुद्दों पर चर्चा की. अर्थशास्त्रियों के समूह ने मंत्रालय को सुझाव दिया कि आगामी बजट में राजकोषीय घाटे को कम करने पर ध्यान दिया जाना चाहिए, साथ ही रोजगार वृद्धि की आवश्यकता पर भी ध्यान दिया जाना चाहिए.
किसान संगठनों ने किया कृषि क्षेत्र के लिए बजटीय आवंटन बढ़ाने का आग्रह
भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) ने सुझाव दिया कि सरकार आगामी बजट में पूंजीगत व्यय बढ़ाए. अर्थशास्त्रियों ने पूंजीगत व्यय बढ़ाने की आवश्यकता पर भी जोर दिया. किसान संगठनों ने वित्त मंत्री से कृषि क्षेत्र के लिए बजटीय आवंटन बढ़ाने का आग्रह किया. कौशल और रोजगार क्षेत्रों के प्रतिनिधियों ने कार्यबल के बेहतर उपयोग के लिए युवाओं को कौशल प्रदान करने के तरीके सुझाए. इस साल के मानसून सत्र में 12 अगस्त तक 19 बैठकें होंगी.
छह विधेयक पेश कर सकती है मोदी सरकार
मोदी सरकार छह विधेयक पेश कर सकती है, जिनमें विमान अधिनियम और जम्मू-कश्मीर के बजट को संसद की मंजूरी प्रमुख हैं. सरकार 23 जुलाई को बजट की घोषणा के बाद वित्त विधेयक भी पेश करेगी. अन्य विधेयकों में आपदा प्रबंधन कानून, भारतीय वायुयान विधायक 2024, बॉयलर्स विधेयक, कॉफी (संवर्धन और विकास) विधेयक और रबर (संवर्धन और विकास) विधेयक इस साल के मानसून सत्र में पेश किए जाएंगे. भारतीय वायुयान विधायक 2024, 1934 के विमान अधिनियम की जगह लेगा और नागरिक उड्डयन क्षेत्र में विनियमन को सुव्यवस्थित करेगा, जिससे इस क्षेत्र में उद्योग जगत के खिलाड़ियों को सहायता मिलेगी.