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रांची/डेस्क: सीसीएल द्वारा राज्य के अलग-अलग जिलों में चलाई जा रही कोल परियोजना के विस्थापितों को नौकरी देने में गड़बड़ी को लेकर हजारीबाग के रहने वाले राजन कुमार ने इस मामले में जांच की मांग के लिए हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है. उन्होंने अपने वकील मनोज चौबे के जरिए जनहित याचिका हाई कोर्ट में दाखिल की है. दायर की गई याचिका में उन्होंने मांग की है कि गोविंदपुर, कथार, नार्थ कोयलारी, चंद्रगुप्त, जीडीसी कोयलारी,केदला,आम्रपाली, मगध समेत अन्य परियजनाओ में विस्थापितों को नौकरी देने में गड़बड़ी की लेकर CCL अधिकारीयों से जांच का आदेश दिया जाए. क्योंकि लैंड लूजर स्किम के तहत सीसीएल ने जिन 250 लोगों को इंटरव्यू के लिए बुलाया था वह विस्थापित नहीं है.
आपको बता दे कि राजन ने इससे पहले CCL के CMD को एक लिखित शिकायत की थी. इस शिकायत में उन्होंने कहा था कि जोया आफरीन, अशोक कुमार,दिलीप कुमार, रेणु देवी, सरस्वती देवी, ममता कुमारी, सोनू कुमार, उर्मिला देवी, आकाश कुमार साव, रीना देवी, किशोर कुमार सिंह, पीला देवी, गुड़िया कुमारी, राजेश प्रसाद गुप्ता,पूजा कुमारी, गुंजा कुमारी, राधिका कुमारी, दशरथ साव, गुड्डू कुमार, शंकर कुमार,शीला देवी, मोनू कुमार, कल्पना कुमारी,राहुल कुमार, अजीत कुमार, आरती कुमारी, राहुल कुमार, प्रियंका कुमारी,विजय कुमार नायक, महेश भाटिया, सुदेश कुमार, सचिन कुमार, तूफान कुमार, बैजनाथ साव, अजीत कुमार, कोमल कुमारी, नरेश कुमार और विनोद कुमार समेत अन्य 250 से भी अधिक लोगों को इंटरव्यू के लिए बुलाया गया था. लेकिन वह सारे विस्थापित नहीं है. इस कारण से इस मामले की जांच होनी चाहिए.