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रांची/डेस्क: आपने अक्सर सुना होगा कि शराब पीने के बाद व्यक्ति को अपनी पुरानी यादें तक नहीं याद रहती. उसे यह तक याद नहीं रहता कि वह कहां है, क्या बोल रहा है और क्या हुआ था. इस अजीब स्थिति को ब्लैकआउट कहा जाता है लेकिन क्या शराब वास्तव में पुरानी यादों को मिटा देती है? या यह सिर्फ शराब के असर के कारण होने वाली अस्थायी भूलने की प्रक्रिया है? आइए, जानते है इस बारे में सबकुछ.
क्या है ब्लैकआउट और क्यों होता है ये?
ब्लैकआउट एक ऐसी स्थिति होती है जब शराब का अत्यधिक सेवन करने से सिर का वह हिस्सा प्रभावित हो जाता है, जो यादों को स्टोर करता हैं. इस दौरान व्यक्ति को उस समय की कोई भी घटना, बातचीत या गतिविधि याद नहीं रहती, जो शराब पीने के दौरान हुई थी. इसे मेडिकल भाषा में "Anti-Retrograde Amnesia" कहा जाता हैं. इसमें व्यक्ति को पहले से हुए घटनाओं का कोई स्पष्ट खाका नहीं दिखता. ब्लैकआउट के दौरान सिर में ऐसी प्रक्रिया होती है जो उसे "ऑटोमैटिकली" उस वक्त की घटनाओं को भूलने पर मजबूर कर देती हैं. ब्लैकआउट के बाद व्यक्ति अक्सर यह सोचता है कि कहीं उसने कुछ गलत तो नहीं किया या बोला.
शराब पीने से क्या पुरानी यादें गायब हो सकती हैं?
शराब पीने से पुरानी यादें तो गायब नहीं होती लेकिन शराब के नशे के कारण व्यक्ति को कुछ खास घटनाएं याद नहीं रहतीं. ब्लैकआउट स्थिति में सिर्फ वर्तमान घटनाओं की यादें प्रभावित होती है, जो शराब के असर में होती हैं. पुराने अनुभव या पुरानी यादें समय के साथ बनी रहती है लेकिन जब आप अधिक शराब पीते है तो शराब आपको वर्तमान घटनाओं को भूलने की स्थिति में डाल देती हैं.