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रांची/डेस्कः- आज के दिनों में युवाओं के मन में ये सवाल हमेशा से रहता है कि आखिर स्पर्म काउंट कम होने से कहीं शरीर पर असर तो नहीं पडेगा या फिर कैसे कम होता है स्पर्म काउंट? इस तरह के कई सवाल युवाओं के मन में दौड़ते रहते हैं. आइए जानते हैं कि आखिर क्या है इसके पीछे की असल वजह..
'ओलिगोस्पर्मिया क्या होता है
गलत खानपान व बिगड़ते लाइफस्टाइल से लोगों के शरीर पर असर तो पड़ता ही है, पुरूषों की बात करें तो स्पर्म काउंट की समस्या पिछले एक दशकों से काफी बढ़ी है. मेडिकल टर्म की बात करें तो इसे 'ओलिगोस्पर्मिया' कहा जाता है. बता दें कि जब पुरूषो में शुक्राणु की मात्रा में कमी पाई जाती है तो पेनट्रेशन में स्पर्म ट्रैवल नहीं कर पाते जिससे इनफटिर्लिटी जैसी समस्या बढती है. अब सवाल ये उठता है कि आखिर इसके पीछे का कारण है क्या. कभी-कभी पुरूष न चाहते हुए भी कई गलती करते हैं जिससे बाद में उन्हे इसका खामियाजा भुगतना पड़ता है.
इससे स्पर्म की क्वालिटी व क्वांटिटी दोनों पर पड़ता है असर
आईए जानते हैं कि आखिर वो कौन से कारण हैं जिससे पुरूषों में स्पर्म की संख्या में कमी आती है. शरीर का प्रॉपर आराम न देना नींद का पूरा न होना, शराब का सेवन, स्मोकिंग, ज्यादा स्ट्रेस लेना, फिजिकल एक्टीवीटी का न होना. इसके अलावा बढती उम्र के साथ भी इस तरह की समस्या उत्पन्न होती है. लो स्पर्म काउंट के पीछे कुछ हेल्थ इश्यूज भी जिम्मेदार होते हैं जैसे मोटापा, इसके वजह से पुरूष के प्रजनन अंगो पर असर पड़ता है. ठीक यही प्रक्रिया अंडर वेट वालों के साथ भी होता है. इसके साथ हाई बीपी, अंडकोष या प्रोस्टेट कैंसर, डायबिटीज कोरोनरी आर्टरी डिजीज के कारण भी स्पर्म में कमी आ सकती है. इसके और भी कई कारण है जैसे बिना किसी को दिखाए कोई भी दवा खा लेना. खास तौर पर वैसी दवाइयां जो शरीर में फैट बढ़ाने, मसल्स बिल्डिंग से जु़ड़ी हों. इससे मेल्स फटिर्लिटी पर बुरा असर पड़ता है. इसके अलावे अगर आप बाहर के फास्ट फूड खाते हैं जैसे जंक फूड, तला भुना, डब्बाबंद, प्रोसेस्ड फूड इससे स्पर्म की क्वालिटी व क्वांटीटी दोनों पर बुरा असर पड़ता है.
ये है मास्टरबेसन का असर
आम तौर पर पुरूषों के बीच ये एक कॉमन सा सवाल रहता है कि क्या मास्टरबेसन करने से स्पर्म काउंट में कमी आती है तो आपको बता दें कि स्पर्म काउंट व हस्थमैथुन दोनों में किसी तरह का कोई संबंध नहीं रहता. मास्टरबेट करने से वीर्य रीलीज होता है जिसमें से शुक्राणु के साथ मिनरल्स, सेल्स, पानी, फ्रुक्टोज, विटामिन भी मिला होता है. डॉक्टर का कहना है कि वीर्य बॉडी में हमेशा बनता रहता है. हां अगर कोई रेगुलर हस्थमैशुन कर रहा है तो उन्हे प्रॉपर खानपान पर ध्यान रखने की जरुरत है.