बसंत कुमार साहू/न्यूज़11 भारत
सरायकेला.डेस्क: चांडिल अनुमंडल क्षेत्र के विभिन्न गांवों में गौ माता कि धुमधाम से पूजा अर्चना की गई. चांडिल अनुमंडल क्षेत्र के लोग प्राचीन काल से आज के दिन बैल, गाय, बछड़े का गोहाल घर में पूजा अर्चना करते आ रहे हैं. गौ माता कि पूजा अर्चना के लिए हर किसान अपने अपने खेतों से नए धान काट कर लाते हैं,इस धान से गौ माता के लिए मुकुट बनाया जाता है जिसको ग्रामीण क्षेत्रों में मोड़ कहते हैं.सबसे पहले गौ माता को नदी एवं तालाब में स्नान कराने के बाद गौ माता की पैर हल्दी पानी से धोकर अपने अपने गोहाल घर में प्रवेश कराते हैं. गौ माता को पूजा अर्चना करने के बाद पुरी एवं पुआ प्रसाद के रूप में खिलाया जाता है एवं गोहाल घर में लकड़ी के बने गोरोया को गाड़ कर पूजा अर्चना किया जाता है.फिर गौ माता को तरह तरह की रंग से सजा कर गांव में घुमाया जाता है.ग्रामीणों के अनुसार इस पूजा को अपने खेतों में अच्छी फसल उपजाऊ के लिए किया जाता है. गौ माता के बिना फसल हर खेतों में नहीं उपजाऊ हो सकता है.