आर्यन श्रीवास्तव/न्यूज़11 भारत
कोडरमा/डेस्क: कोडरमा स्टेशन से मधुपुर-गिरिडीह के रास्ते चलने वाली ट्रेन कोडरमा टाउन स्टेशन में यात्री सुविधा नहीं हैं. यहां न तो पीने के पानी की व्यवस्था की है और न ही टिकट काउंटर की व्यवस्था हैं. समुचित लाइट की भी कमी हैं. कई बार ऐसा होता मानो स्टेशन जाने के लिए रास्ता का पता ही नहीं चलता हैं. लोग सोचते है कि किधर से हमको जाना हैं. स्टेशन का रास्ता इतना ज्यादा खराब है कि स्टेशन के पास ना ही ऑटो जा सकती है, न ही चार चक्का वाहन जबकि नगर पंचायत के विभिन्न पंचायत से दूर-दूर इलाके से कई इलाकों से लोग ट्रेन से सफर करने आते है लेकिन पानी पीने के नाम पर एक टूटा हुआ चापाकल है, जिसका हैंडल टूटा हुआ है, जिससे गंदा पानी निकलता है, जो पीने योग्य नहीं हैं.
वहां पहुंचने वाले यात्री कहते है कि लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है, कई लोग आवागमन करते हैं. खासकर गरीब गुरबा के लोग जो दिहाड़ी मजदूरी कर के आते- जाते हैं. उसे काफी कठिनाइयों का सामना करना पड़ता हैं. एक तरफ सरकार नारा देती है कि स्वच्छ भारत, स्वस्थ भारत और शुद्ध पानी पीने के लिए कहा जाता है लेकिन सही मायने में कहा जाए तो सिर्फ कहने को ही रह जाता हैं. यदि स्वच्छ पीने की पानी मिल जाता तो लोगों को काफी राहत मिलती. हमलोग तो बस इतना कहना चाहते है कि यहां जितना जल्दी हो सके स्वच्छ पीने की पानी अति शीघ्र किया जाए, जिससे लोगों को सुविधा मिल सके.