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रांची/डेस्कः- नीट यूजी परीक्षा देश के 571 शहरों के 4750 केंद्रों के साथ साथ विदेशों में भी हुई थी. इस परीक्षा में हुई धांधली से छात्रों ने आंदोलन कर फिर से एग्जाम लेने की बात कर रहे थे जिसको लेकर सुप्रीम कोर्ट का फैसला आ गया है. फैसला सुनाते हुए सीजेआई ने कहा कि दोबारा परीक्षा आयोजित नहीं की जाएगी. कोर्ट ने कहा कि ये दिखाने के लिए प्रयाप्त सबूत नहीं है जिससे परीक्षा को दोबारा आयोजित करवाने को लेकर बाध्य करना पड़े. सीजेआई ने कहा कि 1,08,000 सीटों के लिए 24 लाख छात्र प्रतिस्पर्धा में हैं. इस परीक्षा में कुल 180 प्रश्न होते हैं कुल 720 नंबर के नेगेटिव अंको के साथ. प्रस्तुत प्रक्रिया में कार्रवाई का एकमात्र तरीका रीटेस्ट का ही था. लेकिन इशके प्रयाप्त सबूत नहीं मिल पा रहे हैं. बता दें NEET का 4 जून को रिजल्ट आने के बाद छात्रो का आक्रोश सामने आया था. रिजल्ट में 67 टॉपर थे और एक ही सेंटर से कई टॉपर पाए गए थे. ग्रेस मार्क्स एक सवाल के दो उत्तर समेत कई तथ्य थे जो छात्रों को हजम नहीं हो रहे थे. इसी मामले को लेकर छात्रों ने रिजल्ट में हेराफेरी व पेपरलीक का हवाला देकर पूरे देश में प्रदर्शन कर रहे थे. इसी दौरान कोर्ट में दोबारा परीक्षा लिए जाने को लेकर याचिकाओं का सिलसिला तेज हो गया. इसको लेकर सुप्रीम कोर्ट में भी याचिका दायर की गई थी. इसमें बिहार पेपरलीक से लेकर हजारीबाग, गोधरा, सीकर तक के मामले की जांच शुरु हुई. सीबीआई जांच जैसे तमाम मुद्दों पर बहस शुरु हुई. देश के सर्वोच्च कोर्ट में सभी की पहलुओं की बहस सुनने के बाद यह तय हुआ था कि जल्द से जल्द इसपर फैसला देना है, छात्र को ऐसे में लटका कर रखना ठीक नहीं है. इसी को लेकर कोर्ट ने आज फैसला सुना दिया है जिनका साफ कहना है कि परीक्षा दोबारा आयोजित नहीं की जा सकती.