विकास कुमार/न्यूज़11 भारत
पलामू/डेस्क: पलामू जिला के हुसैनाबाद शहर के जपला धरहरा के सुंदरनगर में स्वच्छता मिशन के जनक व महान समाज सुधारक संत गाडगे महाराज जी की 149वीं जयंती धूमधाम से रविवार को मनायी गयी. कार्यक्रम का उद्घाटन हुसैनाबाद प्रखंड प्रमुख राजकुमारी देवी, राष्ट्रीय जनता दल के युवा नेता रवि यादव, तत्कालीन नगर पंचायत अध्यक्ष शशि कुमार, पूर्व सैनिक प्रमोद कुमार रजक, रमन कुमार रजक, वार्ड पार्षद नवीनगर बिहार, हुसैनाबाद पैक्स अध्यक्ष कृष्णा बैठा ने संयुक्त रूप से संत गाडगे, भगवान गौतम बुद्ध, बाबा साहेब भीमराव अंबेडकर, ललाई सिंह यादव, जगदेव प्रसाद व सावित्री बाई फुले की चित्र पर दीप प्रज्ज्वलित कर किया गया.वहीं इस कार्यक्रम की अध्यक्षता सेवा निवृत्त शिक्षक जगदीश बैठा व संचालन किसान नेता सह पैक्स अध्यक्ष कृष्णा बैठा ने किया.वहीं अयोजन समिति के द्वारा उपस्थित अतिथियों का शॉल देकर सम्मानित किया. कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रखंड प्रमुख राजकुमारी देवी ने कहा कि संत गाडगे बाबा का जन्म महाराष्ट्र के अमरावती जिले के शेणगांव अंजनगांव में 23 फरवरी 1876 को हुआ था. वे बचपन से ही आध्यात्मिक व समाज के विचारक थे. उन्होंने समाज के लोगों में शिक्षा का अलख जगाने का कार्य किया था . उनके जीवनी को समाज के लोगों को अनुकरण करना चाहिए. वहीं राजद प्रदेश महासचिव व युवा नेता रवि यादव ने कहा कि वे अपने कीर्तनों के माध्यम से समाज के पाखंड और परंपरा की आलोचना करते थे. गाडगे बाबा ने समाज को शिक्षा के महत्व के बारे में समझाते हुए स्वच्छता और चारित्रिक शिक्षा दी. उन्होंने गरीबों और दलितों के बीच अज्ञानता, अंधविश्वास और अस्वच्छता के उन्मूलन के लिए काम किया.
तत्कालीन नगर पंचायत अध्यक्ष शशी कुमार ने गाडगे की जीवनी पर प्रकाश डाला. उन्होंने कहा कि संत गाडगे ने जो भी किया वह सभी के लिए अनुकरणीय है उनके विचारों की समाज मे आत्मसाध करने की जरूरत हैं. उनके बताए मार्ग पर चलना ही सच्ची श्रद्धांजलि होगी. मौके पर कई वरिष्ठ नेताओं ने भी अपना विचार व्यक्त किया. कार्यक्रम में मुख्य रूप से बेनिकला के मुखिया श्रवण राम, भाजपा नेता अजय प्रसाद गुप्ता, जय श्री बैठा, बबन रजक, संजय बैठा, जितेंद्र कुमार, राजकुमार रजक, सुदर्शन बैठा, सुरेश बैठा, अनिल रजक, लालमोहन रजक, अगनू रजक, नागदेव, अजय, बबन, मुख्तार बैठा, जहेंद्र बैठा, पचचु बैठा, राजेश यादव, मुन्नादेव, शंकर बैठा, यमुना बैठा, रामबचन बैठा, काफी संख्या में समाज व कई दल के प्रबुद्ध लोग एवं महिलाएं भी उपस्थित थी.